घटेरा को उपस्वास्थ्य एवं सेकेंडरी स्कूल की सौगात
दमोह। जबेरा
विधानसभा में निरंतर विकास कार्य किये जा रहे जिनके भूमिपूजन एवं लोकार्पण
स्थानीय विधायक एवं मंत्री धर्मेन्द्र सिंह लोधी कर रहे हैं इसी कड़ी में
मंडल बनवार के ग्राम घटेरा में 65 लाख रूपये की लागत से नव निर्मित
उपस्वास्थ्य एवं हाई स्कूल को हाई सेकेंडरी स्कूल के रूप में उन्नयन किया
गया।
इस स्कूल के भवन को 1.08 करोड़ की स्वीकृति प्रदान की गई है जिसमें भवन निर्माण,खेल मैदान, आईसीटी लेब सहित विभिन्न निर्माण कार्य किये जायेगा।इस स्कूल में पहले छ: शिक्षक हुआ करते थे लेकिन अब यहां पर 25 शिक्षकों की पदस्थापना कराई गई है।जिससे बच्चे शिक्षा के साथ खेलकूद एवं अपने सपनों को साकार करने के लिए अध्ययन करेंगे।65 लाख रुपये की लागत से नवनिर्मित उपस्वास्थ्य केन्द्र का लोकार्पण किया है।इस बहुप्रतीक्षित मांग को पूर्ण करते हुए आज मुझे बड़ी प्रसन्नता हुई है। निश्चित ही केन्द्र के निर्माण से ग्राम वासियों सहित अन्य ग्रामों के लोगों को भी स्वास्थ संबंधी लाभ प्राप्त होंगे। जहां लोगों को पहले बनवार उपचार हेतु जाना पड़ता था लेकिन अब ग्राम में ही लोग अपना उपचार करा सकेंगे। कार्यक्रम में मुख्य रूप से मंडल अध्यक्ष श्री रिंकू जैन सरपंच श्री राघवेंद्र सिंह, वरिष्ठ नेता नर्मदा राय, उमाशंकर शास्त्री, गुड्डा जैन सहित अन्य जनप्रतिनिधिगण, शिक्षकगण एवं प्यारे प्यारे बच्चों की उपस्थिति रही।
जेपीबी स्कूल में कॉलेज चलो अभियान.. दमोह। उच्च
शिक्षा विभाग मध्य प्रदेश शासन भोपाल के निर्देशानुसार "कॉलेज चलो
अभियान"के अंतर्गत शासकीय कमला नेहरू महिला महाविद्यालय के द्वारा
प्राचार्य डॉ. जी.पी. चौधरी एवं कार्यक्रम प्रभारी डॉ.अवधेश जैन के
मार्ग दर्शन में शासकीय जे.पी.बी. उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में कार्यक्रम
आयोजित किया गया।श्रीमती जया अहिरवार ने कक्षा 12वीं की छात्राओं को
सत्र 2026-27 की प्रवेश प्रक्रिया एवं राष्ट्रीय शिक्षा नीति2020 के विषय
में, श्रीमती शिखा यादव ने मध्य प्रदेश शासन उच्च शिक्षा विभाग भोपाल
द्वारा छात्र-छात्राओं को दी जाने वाली विभिन्न छात्रवृत्तियो जैसे प्रतिभा
किरण योजना, गांव की बेटी योजना, मेधावी जनकल्याण योजना,आवास एससी-एसटी
एवं ओबीसी की जानकारी दी। इसके साथ श्रीमती अनुभा तिवारी ने महाविद्यालय
में उपलब्ध सुविधाओं एवं विभिन्न गतिविधियों जैसे स्वामी विवेकानन्द
कैरियर मार्गदर्शन,एन.एस.एस. की जानकारी दी । इसके साथ ही नई राष्ट्रीय
शिक्षा नीति 2020 में विशेष संरचना राष्ट्रीय शिक्षा नीति में नई शिक्षा नई
उड़ान के संबंध में छात्राओं को अवगत कराया कार्यक्रम में विद्यालय के
प्राचार्य श्री डी.के. मिश्रा, श्री शरद मिश्रा एवं समस्त स्टाफ का
मार्गदर्शन रहा।
संविदा कर्मचारियों कों नियमित करने अजाक्स का ज्ञापन.. दमोह। अजाक्स
संघ के प्रांतीय कार्यकारणी सदस्य एवं संभागीय प्रभारी डॉ मोहन सिंह आदर्श
द्वारा माननीय मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन दिया गया जिसमें मांग की गई है
कि, मध्य प्रदेश के अनेक विभागों में लगभग 20 से 25 वर्षों से सेवाएं दे
रहे जिसमें अधिकतर अधिक आयु होने के कारण अन्य प्रतियोगी परीक्षाओं से भी
वंचित हो गये है, और कुछ सेवा निवृत एवं दिवंगत हो गये।
संविदा
पर पर कार्य करने के कारण न तो अनुकम्पा नियुक्ति की पात्रता है ना
ग्रेजुएटी की जिसके कारण बड़ी-बड़ी आर्थिक परेशानियों से जूझना पड़ रहा है
वहीं दूसरी ओर सातवें वेतनमान की समकक्षता निर्धारित करते समय डाटा एंट्री
ऑपरेटर, अकाउंटेंट, जेंडर समन्वयक, सहायक वार्डन, प्रोग्रामर, बी आर सी का
ग्रेड पे कम कर दिया गया है, अतः शासकीय पदों के अनुरूप ग्रेड पे सुधार कर
दिया जावे और मध्य प्रदेश के अध्यापकों की भांति सभी संविदा कर्मचारियों को
नियमित कर समस्त लाभ दिए जावे। इस अवसर पर हरीश अहिरवार ए पी सी, तहसील
अध्यक्ष अजाक्स दमोह,प्रदीप अहिरवार प्रोग्रामर ,विजय नामदेव कम्प्यूटर
ऑपरेटर, संतोष नामदेव लिपिक, अनुराग श्रीवास्तव लेखपाल, सुरजीत सिंह
कम्प्यूटर ऑपरेटर आदि उपस्थित रहें।
शंका का समाधान शंकर के समक्ष पूर्ण होता है- श्री भगवान वेदांताचार्य रसिक.. दमोह। व्यक्ति के अंदर इच्छाएं होती है जो तितिक्षा बन जीवन भर किसी की प्रतीक्षा करती रहती है कोई तितिक्षा कभी होती कभी नहीं, ऐसे में शंका का उदय होता जिसे स्वाध्याय ग्राही ही रहस्यमई युक्ति से पूरा कर पाता शास्त्र ऐसा कहता है कि शंकर ही शंका मिटाता है इसलिए उसे शंकर कहा विद्या का देव वास्तव में शिवका अर्थ है। आनन्द, कल्याण, परम मंगल, कैलासको देखकर जो आन्तरिक आनन्दकी अनुभूति होती है, वह शिवतत्त्वकी हलकी-सी झलक देती है।शिवको महाशक्तिर्महाद्युतिः अनन्त शक्ति एवं श्रेष्ठ कान्तिसे सम्पन्न कहा जाता है। कैलास अपने स्वामी शिवकी तरह ही अनन्त शक्तिसम्पन्न प्रतीत होता है। उसकी उज्ज्वल कान्ति तो देखते ही बनती है। विगालः अर्थात् अपनी जटासे गंगाजीके जलको टपकानेवाले शिवकी तरह ही कैलाससे निकलनेवाली नदियाँ विशेषकर कैलाससे गिरनेवाले झरने शिवकी जटाओंसे गंगाके निकलनेका स्मरण कराते हैं। हमारे शरीरका ७० प्रतिशत भाग जलसे बना है। जल ही प्राणका आधार है। कैलाससे निकलनेवाली नदियाँ और झरने इसी प्राणतत्त्वको प्रसारित करते हैं। विश्वकी एक-चौथाई जनसंख्याका भरण-पोषण कैलाससे निकलनेवाली नदियोंके जलसे ही होता है। कैलास प्राणतत्त्वका आधार है। कैलासपर छायी हिम, भस्म-सी प्रतीत होती है। भस्म संसारकी अनित्यताका बोध कराती है। शिव भस्म धारण करनेके साथ मस्तकपर त्रिपुण्ड्र भी लगाते हैं।त्रिपुण्ड्रकी तीन रेखाएँ प्रणवके तीन अक्षरों-अकार, उकार और मकारकी प्रतीक हैं। ये तीन रेखाएँ मानव-निर्मित तीन लोकोंकी प्रतीक हैं, जिनके संहारका कार्य शिव करते हैं। कैलासके दक्षिणी पार्श्वपर शिवका मुख और उसपर त्रिपुण्ड्र स्पष्ट प्रतीत होता है। प्रकृतिद्वारा उद्भूत सांसारिक चीजोंसे असंपृक्त हैं। इसी प्रकार शिवलिंगके ऊपर अभिषेक का लाभ ही आपने अंदर से कलमष को दूर करता है जो कलयुग में धर्म मर्मज्ञ विद्वत जनों का विचार यही से पुष्ट होता है। लक्ष्मी नारायण महायज्ञ के प्रभाव से जन मानस में अनोखा समर्पण देखने मिल रहा है जिसमें फलाहारी बाबा संत सेवा ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत श्री राम दास त्यागी जी महाराज एवं योगी राज राम करण दास त्यागी जी महाराज ने कथा श्रवण का लाभ लिया।






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