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मध्यप्रदेश मेडिकल एंड सेल्स रिप्रेजेंटेटिव यूनियन रहीं आम हड़ताल पर.. शहर के विभिन्न चौराहों ने निकाली वाहन रैली.. जिला बीड़ी मजूदर सभा ने प्रधानमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपा..

मेडिकल एंड सेल्स रिप्रेजेंटेटिव यूनियन आम हड़ताल पर

दमोह। कारपोरेट-पूंजीपति परस्त जन विरोधी श्रम विरोधी केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ एवं संयुक्त ट्रेड यूनियनों की लंबित जायजा मांगों को लेकर देशव्यापी आम हड़ताल 26 नवंबर 2020 को आयोजित की गई। जिसमें मध्यप्रदेश मेडिकल एंड सेल्स रिप्रेजेंटेटिवस यूनियन दमोह ने हड़ताल पर रहकर वाहन रैली का आयोजन किया गया। रैली अस्पताल चैराहा से प्रारंभ होकर कीर्ति स्तंभ, बैंक चैराहा, बस स्टैंड चैराहा, स्टेशन चैराहा, राय चैराहा, घंटाघर से होते हुए अस्पताल चैराहे पर संपन्न की गई।

इसके पश्चात् यूनियन अध्यक्ष कामरेड ऋषि तिवारी ने यूनियन को संबोधित किया एवं संयुक्त ट्रेड यूनियनों की प्रमुख मांगें बताई जिसमें न्यूनतम वेतन 21000 प्रति माह, न्यूनतम पेंशन 10000, सामान काम काम वेतन लागू करें उन्होंने बताया कि अर्थव्यवस्था पूरी तरह से ध्वस्त पड़ी है चालू वित्त वर्ष की तिमाही में अर्थव्यवस्था की विकास दर शून्य से नीचे 24 प्रतिशत तक गिर गई है। भारतीय अर्थव्यवस्था जो पहले से ही नोटबंदी और जीएसटी कहां संकट में थी महामारी के चलते हुए संकोचन के कारण और भी अधिक प्रभावित हुई है हाशिए पर रहने वाले लोग गरीब और दबे कुचले सबसे ज्यादा प्रभावित हुए हैं अनुमान है कि अचानक लॉकडाउन और कारखानों को बंद करने की घोषणा है कारण 14 करोड़ श्रमिकों को नौकरियों से निकाल दिया गया है सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकॉनमी के अनुसार अप्रैल से अगस्त 2020 की अवधि में लगभग 2.1 वेतन भोगी नौकरियां खत्म हो गई है। बेरोजगारी की स्थिति जो महामारी से पहले ही 45 साल की सबसे ज्यादा ऊंचाई पर थी अब और भी खराब हो गई है ग्लोबल हंगर इंडेक्स 2020 में भारत को 107 देशों में 94 स्तर पर रखा है। यूनियन उपाध्यक्ष कॉमरेड कपिल कांत जैन ने  यूनियन को संबोधित किया एवं स्थाई काम, स्थाई भर्ती लागू करें, फिक्स टर्म एंप्लॉयमेंट को वापस लें, श्रम कानूनों का संहिताकरण वापस को लें यह मांगे केंद्र सरकार के सामने उठाई। 

यूनियन सचिव कामरेड अरुण गुप्ता ने भी यूनियन के सदस्यों को संबोधित किया एवं मालिकों के हित में श्रम कानून को पलटने पर रोक लगाएं, सभी श्रम कानूनों पर सख्ती से अमल करें यह सभी मांग केंद्र सरकार से की। यूनियन कोषाध्यक्ष कामरेड सौरभ खरे ने यूनियन को संबोधित किया और कहा कि बढ़ते संविदा ठेकेदारीकरण पर विराम लगाएं। सह सचिव कामरेड प्रियरंजन कुमार ने कहा की सभी को सामाजिक सुरक्षा का लाभ दें, रेलवे, रक्षा, बीमा क्षेत्र में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश संबंधी निर्णय वापस लें, सार्वजनिक उद्योगों का विनिवेश बंद करें जनता के धन से कारपोरेट को रियायत देना बंद करें। कामरेड अनुग्रह मिश्रा कहा महंगाई रोके बेरोजगारों को रोजगार दें, सेल्स प्रमोशन एम्पलाई एक्ट 1976 को खत्म करने का प्रयास बंद करें, 8 घंटे काम की सीमा तय करें, एसपीई एक्ट तथा अन्य कानूनों को सख्ती से लागू करें, सेल्स के नाम पर विक्टिमाइजेशन बंद करें, सेल्स प्रमोशन के काम में इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों से निगरानी तथा निजता के हनन पर रोक लगाओ, दवा की मार्केटिंग के लिए समान आचार संहिता लागू करें, सेल्स प्रमोशन एंप्लाइज के लिए वैधानिक समान कार्य नियमावली लागू करें, दवाइयों एवं चिकित्सा उपकरणों पर जीएसटी 0 प्रतिशम घोषित करें, दवाओं के दाम कम करें, दवाओं पर एमआरपी की बजाय लागत मूल्य पर उत्पाद शुल्क लगाया जाए। 

कार्यक्रम में मध्यप्रदेश मेडिकल एंड सेल्स रिप्रेजेंटेटिव यूनियन दमोह के अध्यक्ष कामरेड ऋषि तिवारी, उपाध्यक्ष कामरेड कपिल कांत जैन, सचिव अरुण गुप्ता, सह सचिव  प्रियरंजन कुमार, कोषाध्यक्ष कामरेड सौरभ खरे, चंद्रमणि प्रकाश, संजीव जैन, सचिन जैन, कमलेश रजक, आशुतोष सिंह, भारत राठौर, ओम प्रकाश कुमार, शशी रंजन, सुरेंद्र रैकवार, शैलेंद्र मिश्रा, मयंक जैन, मनीष चैबे, अमित चैरसिया, पंकज सेन, अनुराग मिश्रा, दीपेश सोनी, विजय श्रीवास्तव, वेंकटेश शर्मा, अनूप सोनी, शंकर वाला, देवेंद्र शुक्ला, शेख रहीम, साहेब खान एवं समस्त सदस्यों की उपस्थिति रही। कार्यक्रम के अंत में कार्यक्रम को सफल बनाने हेतु कामरेड सफीक खान ने सभी सदस्यों का आभार व्यक्त किया।

जिला बीड़ी मजूदर सभा ने प्रधानमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा

दमोह। राष्ट्रीय श्रम संगठन के आव्हान पर देेेश व्यापी आम हड़ताल के तहत जिला बीडी मजदूर सभा दमोह के द्वारा प्रधानमंत्री के नाम कलेक्टर को एक ज्ञापन सौंपा गया। जिला बीडी मजदूर सभा दमोह (एटक) के प्रधानमंत्री एमसी गौतम अध्यक्ष, अंकित गौतम साथी विवेक बड़गैया, राहुल शर्मा, अफजल खान, शाहिद खान, गनेश प्रजापति एवं दिनेश अहिरवाल के नेतृत्व में गुरूवार को जिलाधीश कार्यालय पर एकत्रित होकर देशव्यापी आम हड़ताल कर ज्ञापन सौंपा गया। 

अध्यक्ष एमसी गौतम ने मांगें बताई जिसमें सभी गैर आयकर दाता परिवारों के लिये प्रतिमाह 7500 रूपये का नगद हस्तांतरण हो, सभी जरूरतमंदो को प्रति व्यक्ति प्रतिमाह 10 किलो मुफ्त राशन दिया जायें, ग्रामीण क्षेत्रों में एक साल में 200 दिनों के काम को बढ़ाने के लिये मनरेगा का विस्तार करें तथा शहरी क्षेत्रों में रोजगार गारंटी का विस्तार किया जावें, सभी किसान विरोधी कानूनों और मजदूर विरोधी श्रम संहिता को वापिस लिया जाएं, वित्तीय क्षेत्र सहित सार्वजानिक क्षेत्र के निजीकरण को रोको और रेल्वे, आयुध कारखानों, ंबंदरगाह आदि जैसे सरकारी विनिर्माण उमकम ओर सेवा संस्थाओं के कारर्पोरेटीकरण को बंद किया जाएं, सरकारी और पीएसयू कर्मचारियों की समय से पहले सेवा निवृत्ती के कूरतापूर्ण, सरकूलर को वापिस लिया जाएं, सभी को पेंशन प्रदान की जाएं, नई पेंशन योजना एनपीएस को खत्म किया जाएं एवं पहिले की पेंशन को वहाल किया जाएं ईपीएस 95 में सुधार किया जाएं आदि मांगो को लेकर ज्ञापन सौंपा गया।

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